गुजराती आंटी ने घर बुलाकर चुदाई करवाई

कृष्णा 323

23-07-2024

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गरम आंटी सेक्स कहानी में मेरी दोस्ती अन्तर्वासना साईट के माध्यम से एक आंटी से हुई. आंटी अपने पति से संतुष्ट नहीं थी। एक दिन उन्होंने मुझे मिलने को कहा और मुझे अपने घर ले गयी.


नमस्कार दोस्तो! मेरा नाम रोहित है। मैं गांधीनगर में हूँ।


मैं अन्तर्वासना पर खूब कहानियां पढ़ता हूँ। एक मुझे एक अजीब सा सपना आया जो मैं आप सब के साथ शेयर कर रहा हूँ।


अब मैं कहानी की शुरुआत करता हूँ। यह गरम आंटी सेक्स कहानी 2 महीने पहले की है जो मेरे साथ अमदाबाद में हुई। यह कहानी असली है।


अन्तर्वासना कहानियों के कमेंट्स के माध्यम से मेरे दोस्ती अपने ही राज्य में अमदाबाद की एक आंटी से हो गयी. हम इमेल से ही एक दूसरे से बात किया करते थे.


एक दिन निकिता आंटी का मेल आया, वे बोलीं– मुझे तुमसे मिलना है! मैंने भी फट से हाँ कर दी।


उन्होंने बोला– मेरे पति 2 दिन के लिए अपने काम से सूरत जाने वाले हैं। तो फ़िर हमने अगले दिन मिलने के लिए फिक्स किया और मीटिंग प्लेस तय किया।


ये सब बातें ईमेल पर हुई।


उन्होंने बताया था– मैं एक काली रंग की इनोवा कार से आऊंगी।


मैं नवरंगपुरा उनकी बतायी जगह पर 1 बजे दोपहर को पहुँच गया। थोड़ी देर में हमने एक–दूसरे को मेल से संपर्क किया।


उतने में एक काली इनोवा आ कर मेरे सामने खड़ी हो गई। मैं चौक गया क्योंकि कार में सिर्फ एक महिला थी और वह भी ड्राइवर की सीट पर, काले चश्मे के साथ।


मैंने उन्हें मेरे अद्वितीय डिजाइन वाले कपड़ों की पहचान दी थी। उन्होंने मुझे देखते ही पहचान लिया और मैंने उनको!


उन्होंने इशारा किया– मुझे फॉलो करो! वे आगे-आगे इनोवा में थी और मैं उनके पीछे-पीछे फॉलो करता हुआ बाइक पर।


वे गोल्डन ट्राएंगल कॉम्प्लेक्स में सीसीडी नवरंगपुरा पर इनोवा पार्किंग में लगा दी। मैं भी वहीं अपनी बाइक पार्क करके बाहर आ गया।


इतने में ही इनोवा से जो कयामत निकली, सबसे सेक्सी, सफेद कुर्ती और चुस्त काली लेगिंग्स! उनका चेहरा बिलकुल रागिनी खन्ना के जैसा था। वे देखने से करीब 40 साल की लगती थी।


उन्होंने मुझे इशारा किया और अपने पास बुलाया। फ़िर हम दोनों ने हाथ मिलाया। हमने अपना–अपना एक-दूसरे को परिचय दिया।


आंटी– हम दोनों कॉफी शॉप में कॉर्नर वाले टेबल पर जा कर साथ-साथ बैठेंगे और ऐसे व्यवहार करेंगे कि किसी को शक ना हो। कोने की वजह से बातें भी शांति से होंगी और कोई सुनेगा भी नहीं।


मैं और आंटी रेस्तरां में चले गए और वहां बैठ कर बातें करने लगी.


आंटी ने एकदम खुले तौर पर मुझे सेक्स का ऑफर दिया.


पर उन्होंने मेरे से एक वादा लिया– यह बात किसी को पता नहीं चलनी चाहिए और जब मुझे लगेगा कि अब से यह सब खत्म तो तब से पूरी तरह से बंद और खत्म। मैंने बोला– मंजूर है।


वे बोलीं– तो कब करें? मैंने बोला– आप जब भी बोलो!


फ़िर आंटी ने बोला– तो फिर आज से ही शुरू करते हैं। मैं एकदम चौंक गया।


मैं तैयार हो गया और बोला- आज … ठीक है. तो चलिइ। पर कहां पर? आंटी बोलीं– मेरे घर … और कहाँ!


फ़िर हम दोनों ने कॉफी पी और चल पड़े। वे आगे थी और मैं पीछे!


उनकी गदरायी हुई बदन देख कर के तो मैं पागल सा हो गया था। पर मुझे नियंत्रण करना पड़ा।


वे अपनी इनोवा में थी और मैं मेरी बाइक पर। करीब1 किलोमीटर के बाद नियर कॉमर्स सिक्स रोड पर एक सोसाइटी में वह कार एंटर हुई और पीछे–पीछे मैं भी।


एक आलीशान से बंगले के सामने गाड़ी खड़ी हो गई। मैंने बाइक पार्क की और फट से आंटी के साथ-साथ उनके घर में घुस गया।


इतना खूबसूरत घर और एक सुपर सेक्सी हॉट आंटी, मुझे तो सब सपने जैसा लग रहा था। उनकी बदन इतनी परफेक्ट थी, कि क्या ही बोलूँ। ना ही मोटी, ना ही पतली।


उनके पति का फोटो देखकर मैंने पूछा- क्या यह आपके पति हैं? तो वे मुझे बोलीं– हाँ, यह ही वह नपुंसक मेरा पति है।


फ़िर वे पानी लाने किचन चली गई। पानी का गिलास मुझे देकर वे मेरे पास बैठ गई।


आंटी– रोहित, यह बात कहीं बाहर पता नहीं चलनी चाहिए और ना ही कोई ब्लैकमेलिंग होनी चाहिए। जब तक हम दोनों को उचित आनंद मिलता रहेगा, तब तक यह ऐसे ही चलता रहेगा, फ़िर खत्म। मैंने बोला– ठीक है, मंजूर!


इतना बोलते ही आंटी ने मुझे अपनी बाँहों में खींच लिया और हम दोनों पैशनेट होकर एक–दूसरे को चूमने लगे। फ़िर आंटी ने बोला- चलो बेडरूम में चल कर आगे बढ़ते हैं!


और हम दोनों बेडरूम में आ कर पलंग पर लेट गए।


मैंने पूछा– आंटी, आपके पति कब आएंगे? आंटी ने फोन निकाली और डायल कर के अपने पति को फोन लगाई और पूछी– कितने बजे आओगे? उनके पति ने जवाब दिया– रात को 10 बजे तक आऊंगा एक मीटिंग पूरी करके!


मैंने घड़ी देखी तो अभी 2:00 ही बज रहे थे। काफी समय था हारे पास!


आंटी मुझे फिर से पैशनेट होकर चूमने लगी और मैं भी पैशनेटली उनका साथ देने लगा।


फिर आंटी ने मेरे लंड पर अपना हाथ रखा और पैंट के ऊपर से ही उसको दबाने लगी।


वे बोलीं– परफेक्ट साइज है, न ज्यादा, न कम! फ़िर वे खुद मेरी पैंट निकालने लगी तो मैंने पैंट की क्लिप खोल कर के पैंट और अंडरवियर निकाल दी। उसके बाद में आंटी भी अपनी लेगिंग्स निकालने लगी।


हम दोनों ने अपने–अपने नीचे के कपड़े निकाल दिए थे।


उन्होंने अपनी लेगिंग्स निकाल दी थी और मैंने पैंट और अंडरवियर!


आंटी ने सफ़ेद रंग की फूलों वाले डिजाइन वाली पैंटी पहनी हुई थी। मैंने उनकी पैंटी में हाथ डाला और उनकी गांड दबाने लगा।


फ़िर मैंने पैंटी नीचे उतार दी और एक साइड में फेंक दी।


आंटी की चूत लगभग क्लीन थी। उन्होंने ऊपर की कुर्ती निकल दी और मैंने शर्ट निकाल दी।


मैंने देखा तो आंटी ने वही सफेद फूलों की डिजाइन वाली ब्रा पहनी हुई थी। उनकी चूचियां एकदम परफेक्ट शेप और साइज में थी।


मैंने उनके चूची को ज़ोर से दबाया और फ़िर ब्रा निकाल के चूसने लगी। आंटी सिसकारी लेने लगी।


कुछ देर बाद वे बोलीं– अब डाल भी दो! मैंने उनसे पूछा– कौन सी पोजीशन में? तो उन्होंने बोला– पहले लेट के और फ़िर डॉगी स्टाइल!


मैंने उनको पलंग पर लिटा दिया और उनकी सेक्सी जांघों वाली टांगों को फैला दिया। फ़िर मैं चूत चाटने लगा। गरम आंटी सेक्स का मजा लेती हुई जोर–जोर से सिसकारियां लेने लगी।


फ़िर मैंने अपना लंड सेट किया और धक्का मारा तो आधा लंड अंदर चला गया। उनकी चूत थोड़ी चुस्त थी। ऐसा लगा कि उनके पति ने उन्हें बहुत कम चोदा था।


फ़िर मैं दनादन उन्हें चोदने लगा। वे इतनी उत्तेजित थी कि वे पलंग को पकड़ के ऐसा–ऐसा अभिव्यक्ति दे रही थी कि मैं क्या बताऊं।


वे इतना एन्जॉय कर रही थी कि मुझे भी मजा आ गया। 10 मिनट के बाद वे झड़ गई और मेरा भी साथ में पानी निकल गया।


मैंने अपना पानी उनकी चूत में ही निकाल दिया। फ़िर मैंने लंड अपना निकाला।


उन्होंने बोला- अब डॉगी में करते हैं! यह बोल कर वे तुरंत डॉगी पोजीशन में सेट हो गई।


मैंने आंटी को पूछा– यह सब पोजीशन की नॉलेज आपको कैसे? वे बोलीं– इंटरनेट से और कामसूत्र से!


फ़िर मैंने अपना लंड आंटी की चूत पर सेट किया। वे डॉगी पोजिशन में पहले से ही सेट थी।


मैंने धक्का मारा तो लंड चूत में आराम से चला गया। उनकी चीख निकल गई। पर हम अकेले इस बंगले में थे तो कोई डर की बात नहीं थी।


मैंने उन्हें घपाघप चोदा और पूरे कमरे में से थप-थप की आवाज आ रही थी। उनकी गांड एकदम रागिनी खन्ना के साइज की थी, परफेक्ट साइज।


आंटी चिल्ला रही थी और एन्जॉय कर रही थी। वे तकिया पकड़ के आनन्द ले रही थी।


हमने डॉगी पोजीशन में लगभग 5 मिनट चुदाई की और फ़िर वे झड़ गई। मैं भी 2 मिनट बाद झड़ गया।


आंटी फ़िर बाथरूम चली गई। सब साफ किया और फ़िर बाहर आ कर हम दोनों ने बिस्तर पर आराम किया। उसके बाद हमने दोबारा एक राउंड किया, उन्हें नीचे लिटा के।


मैंने टाइम देखा तो 4 बज रहे थे। फ़िर आंटी ने स्नान किया और मैंने भी!


हम दोनों ने कपड़े पहने। उसके बाद हम बात करने लगे ड्राइंग रूम में आ कर।


थोड़ी देर में उनकी सहेली की कॉल आई। आंटी ने उसे बोला– हाँ मजा आ गया। तू कल मुझे ऑफिस में मिल!


मुझे लगा कि आंटी ने अपनी सहेली से पहले ही हमारे आज के सेक्स एडवेंचर के बारे में बता रखा था और उनकी सहली उसकी बारे में पूछ रही थी.


फ़िर आंटी ने मुझे बोला– डियर रोहित, ये सब सीक्रेट रहना चाहिए और मैं तुझे अक्सर मोबाइल और व्हाट्सएप से कॉन्टैक्ट करूंगी और बुलाऊंगी जब भी मौका मिलेगा।


उसके बाद आंटी ने मुझे कई बार बुलाया. वे मुझसे अपनी सहेली की बात भी करती हैं तो मुझे लगता हैकि उनकी सहेली भी मेरे साथ सेक्स करने के लिए उत्सुक है.


पता नहीं यह मेरी कल्पना है या सच!


तो दोस्तो, यह थी मेरी चुदाई की कहानी। गरम आंटी सेक्स कहानी पर अपना कीमती सुझाव आप जरूर दें। धन्यवाद! [email protected]


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